सुधार दे
ये खुदा अब तो हमें सुधार दे थोड़ा सा रहम उधार दे गलत भावना दूर कर दे गर्व को चकना चूर कर दे। थोड़ा सा लाड और प्यार दे ये खुदा अब तो हमें सुधार दे। प्यार मोहब्बत छूट जाए इस दुनिया से दिल टूट जाए बस इक कवि का ही श्रृंगार दे ये खुदा अब तो हमें सुधार दे। ये दुनिया अब कुछ खास नहीं है यहा तो सुख की सांस नहीं है इस दुख से हमें उद्धार दे ये खुदा अब तो हमें सुधार दे। मरने को नहीं बोल रहा हूँ अपने मन को खोल रहा हूँ तु यही मेरा संसार दे ये खुदा अब तो हमें सुधार दे। ऊब गया सत्ता धारी से मारे ये जिन्दा आरी से अब तो अपनी सरकार दे ये खुदा अब तो हमें सुधार दे। याद है मुझे वो तेरा शासन बचा नहीं वो दुष्ट दुशासन अब इनको भी संहार दे ये खुदा अब तो हमें सुधार दे। याद न करना मेरे द्वेष को क्षमा करना प्रिन्शु लोकेश को थोड़ा विनती तो स्वीकार ले ये खुदा अब तो हमें सुधार दे।